गेजिंग : गेजिंग के जिला प्रशासनिक केंद्र सभागार में आज नारकोटिक्स कोऑर्डिनेशन (एनसीओआरडी) समिति और बच्चों में मादक पदार्थों के दुरुपयोग एवं अवैध मादक पदार्थ तस्करी की रोकथाम हेतु संयुक्त कार्य योजना की बैठक आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता गेजिंग जिला मजिस्ट्रेट एवं एनसीओआरडी समिति के अध्यक्ष तेनजिंग डी डेंजोंग्पा ने की।
बैठक में गेजिंग के पुलिस अधीक्षक छिरिंग शेरपा, एसडीएम संदेश सुब्बा सहित विभिन्न विभागों के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। बैठक की शुरुआत पिछली एनसीओआरडी बैठक में लिए गए निर्णयों की समीक्षा से हुई। एसडीएम ने सभी विभागों से पूर्व की पहलों की निरंतरता बनाए रखने और उनके प्रभावी क्रियान्वयन पर जोर दिया। विभिन्न विभागों के प्रमुखों ने जिले में मादक पदार्थों की तस्करी और नशा उन्मूलन हेतु उठाए गए कदमों की प्रगति से अवगत कराया।
जिलाधिकारी डेंजोंग्पा ने अब तक की समन्वित प्रयासों की सराहना करते हुए दोहराया कि प्रशासन मादक पदार्थों के दुरुपयोग और तस्करी के प्रति “शून्य सहिष्णुता” की नीति पर कायम है। उन्होंने विशेष रूप से पंचायत और वार्ड स्तर पर जनजागरुकता एवं परामर्श कार्यक्रमों की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने सभी संबंधित एजेंसियों को निर्देशित किया कि जिले के सभी क्षेत्रों में कड़ी निगरानी सुनिश्चित की जाए। उन्होंने सामुदायिक सहभागिता को मादक पदार्थ विरोधी प्रयासों की रीढ़ बताते हुए, जमीनी स्तर पर जनभागीदारी बढ़ाने की अपील की।
इस बैठक में जिला अस्पताल गेजिंग के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ नामग्ये भूटिया, प्रादेशिक वन अधिकारी जिग्मे छेवांग भूटिया, एसएसबी 36वीं बटालियन के डीसी परवेज असलम अंसारी, संयुक्त निदेशक (शिक्षा) राजेश थापा, उप निदेशक (कृषि) कर्मा भूटिया, एसडीएम, बीडीओ, उप कमांडेंट एसएसबी 36 बटालियन, भारत सरकार के गृह मंत्रालय के एडी (सब्सिडियरी इंटेलिजेंस ब्यूरो) अमरजीत सिन्हा सहित कई वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। बैठक का समापन मानसिक स्वास्थ्य जागरुकता और आत्महत्या रोकथाम को मजबूत करने के सामूहिक संकल्प के साथ हुआ। साथ ही गेजिंग जिले में नशे के खिलाफ जारी लड़ाई को और अधिक सशक्त बनाने का भी संकल्प लिया गया।
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