गंगटोक, 23 सितम्बर । स्वच्छता पखवाड़ा और भारतीय स्वच्छता लीग 2.0 के अंतर्गत गंगटोक नगर निगम ने आज स्थानीय लाल बाजार में स्वास्थ्य के लिए हानिकारक घरेलू कचरा संग्रह केंद्र के उद्घाटन के साथ ही कंचनजंगा शॉपिंग कॉम्प्लेक्स में वेस्ट आईईसी को अलग करने की सुविधा की शुरुआत की। इस अवसर पर यहां आयोजित कार्यक्रम में GMC मेयर नेल बहादुर छेत्री, डिप्टी मेयर श्रीमती छिरिंग पाल्देन भूटिया, जीएमसी कमिश्नर आरबी भंडारी, सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट नोडल अधिकारी नरेश प्रधान के अलावा जीएमसी पार्षदो और अधिकारियों ने घरेलू खतरनाक कचरा केंद्र का उद्घाटन किया।
यहां पत्रकारों को संबोधित करते हुए मेयर छेत्री ने कहा कि सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट नियमों और राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के निर्देशों के अनुसार घरेलू खतरनाक कचरा केंद्र की स्थापना जरूरी थी और आज इसकी शुरुआत की गई है। उन्होंने कहा, कचरा तीन प्रकार का होता है-गीला, सूखा और स्वास्थ्य के लिए हानिकारक। अभी तक स्थानीय लोग कचरा वाहनों पर मिश्रित कचरा ही डंप कर रहे थे, जिसके बाद सफाई मित्रों को उन्हें छांटना पड़ता था। ऐसे में अब जीएमसी द्वारा घरेलू खतरनाक कचरा केंद्र की शुरुआत कर लोगों से कचरे के उचित प्रबंधन और निपटान हेतु खतरनाक कचरे को यहां लाने की अपील करती है।
वहीं, स्रोत पृथकीकरण पर आईईसी कार्यक्रम के दौरान मेयर ने बताया कि लाल बाजार में 500 से अधिक दुकानें और शॉपिंग कॉम्प्लेक्स मौजूद हैं। उन्होंने उनसे सरकारी नियमों एवं मानदंडों के साथ साफ-सफाई रखने का अनुरोध किया। उन्होंने कहा, आज खराब कचरा प्रबंधन के कारण विश्व स्तर पर कई आपदाएँ, प्रदूषण और स्वास्थ्य संबंधी खतरे पैदा हो रहे हैं। ऐसे में उन्होंने सभी से स्वास्थ्य संबंधी खतरों के साथ-साथ सभी प्रकार की आपदाओं को रोकने हेतु स्रोत पृथक्करण में सहयोग, समर्थन देने का आह्वान करते हुए सभी को ग्लोबल वार्मिंग, जलवायु परिवर्तन का हिस्सा बनने से बचने और जागरूक होने को कहा।
वहीं, इस दौरान उन्होंने मांस विक्रेताओं को राज्य सरकार द्वारा निर्धारित नियम के तहत व्यवसाय करने की सख्त हिदायत भी दी। उन्होंने कहा कि उनके खिलाफ कचरा फैलाने की शिकायतें मिल रही हैं, जिस पर नियमानुसार उचित कार्रवाई की जा सकती है। ऐसा कहते हुए उन्होंने भविष्य में राज्य में सफाई मित्रों की कमी होने की संभावना भी जतायी। इसी के साथ उन्होंने कचरे के कारण मार्तम लैंडफिल साइट के आस-पास रहने वाले ग्रामीणों की पीड़ा से भी अवगत कराते हुए उन्हें राहत देने की दृष्टि से स्रोत पर ही कचरे को पूरी ईमानदारी से अलग करने की जरूरत बताई।
इसके अलावा, जीएमसी आयुक्त आरबी भंडारी ने कार्यक्रम में बताया कि घरेलू खतरनाक कचरे के रूप में 13 वस्तुओं की पहचान की गई है, जिनमें बैटरी, ट्यूब लाइट, लाइट बल्ब, बेकार दवाएं, पेंट, गोंद और उनके कंटेनर, कीटनाशक, कृषि दवाएं और उनके कंटेनर और अन्य शामिल हैं। उन्होंने जीएमसी नागरिकों से खतरनाक कचरे के प्रबंधन में यथासंभव मदद करने की अपील करते हुए बताया आज उद्घाटित केंद्र में कर्मियों की तैनाती रहेगी जो लोगों द्वारा जमा किए गए खतरनाक कचरे का विवरण दर्ज करने के साथ उनका नियमानुसार निपटारा करेंगे।
जीएमसी आयुक्त ने आगे बताया कि राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण के निर्देशानुसार शुरूआत में ही कचरे को अलग-अलग करना आवश्यक है। ऐसे में जीएमसी विभिन्न स्थानों से कचरा एकत्र करते समय मिश्रित कचरा स्वीकार नहीं कर सकती है और इसका पालन नहीं करने पर जुर्माने भी लगाया जा सकता है। हालांकि, उन्होंने कहा कि जीएमसी सबसे पहले हितधारकों को जागरूक करने हेतु सभी वार्डों में आईईसी कार्यक्रम आयोजित कर रहा है। इसके बावजूद भी यदि स्रोत पर कचरे को अलग नहीं किया जाता है तो कानूनी कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा, सिक्किम कम आबादी वाला राज्य है और लोग कानून का पालन करने वाले नागरिक हैं, और आज तक जहां भी हमने अपशिष्ट पृथक्करण पर आईईसी कार्यक्रम चलाया है, वहां कार्यान्वयन सफल रहा है। उन्होंने उम्मीद जताई कि लाल बाजार के हितधारक भी स्रोत पर कचरा पृथक्करण की सफलता में हर संभव मदद करेंगे।
No Comments: