पाकिम : जिले में नई बहुउद्देशीय डेयरी एवं मत्स्य पालन सहकारी समितियों की बेहतरी हेतु कार्यरत संयुक्त कार्य समिति की पहली समन्वय बैठक आज अतिरिक्त जिला कलेक्टर सांगे ग्याछो भूटिया की अध्यक्षता में संपन्न हुई। जिला सहकारी विकास समिति के तहत संयुक्त कार्य समिति जमीनी स्तर पर कोऑपरेटिव ईको सिस्टम को बढ़ाने के लिए समर्पित है।
बैठक के दौरान, सहकारिता विभाग की अतिरिक्त रजिस्ट्रार श्रीमती केसांग यांकी ने समिति की भूमिकाओं और जिम्मेदारियों के बारे में बताते हुए प्रत्येक जीपीयू के भीतर प्राथमिक कृषि ऋण सोसायटी की पहचान और पुनरुद्धार की आवश्यकता पर जोर दिया। साथ ही, उन्होंने जमीनी स्तर पर सहकारी समितियों के सामने आने वाली चुनौतियों का भी समाधान किया।
वहीं, अतिरिक्त जिला कलेक्टर सांगे ग्याछो भूटिया ने क्षेत्र में कोऑपरेटिव ईको सिस्टम स्थापित करने में डेयरी एवं मत्स्य पालन क्षेत्रों की प्रगति और क्षमता के बारे में जानकारी ली। उन्होंने समितियों की सहायता के लिए नाबार्ड और सिस्को बैंक द्वारा प्रदान की जाने वाली सहायता सुविधाओं के बारे में भी जानकारी मांगी। साथ ही, उन्होंने स्थानीय दूध उत्पादकों की सहकारी समितियों को मजबूत और पुनर्जीवित करने के उद्देश्य से जागरूकता कार्यक्रमों के आयोजन का प्रस्ताव भी रखा।
इसके अतिरिक्त, उन्होंने आर्थिक विकास और अपनी विपणन रणनीतियों को बढ़ाने के लिए जिले में डेयरी और मत्स्य समितियों के भीतर पैक्स की स्थापना को महत्वपूर्ण बताते हुए सदस्यों को किसानों के लिए एक स्थायी वातावरण बनाने में सहयोग करने का निर्देश दिया। इस पर, सदस्यों ने सहकारी समितियों को बढ़ाने और क्षेत्र में रोजगार के अवसर पैदा करने के लिए सुझाव भी दिए।
बैठक में अतिरिक्त सहकारिता रजिस्ट्रार श्रीमती केसांग यांकी भी मौजूद थीं। उन्होंने समिति की भूमिकाओं और जिम्मेदारियों के बारे में बताते हुए पैक्स की पहचान करने और उसे पुनर्जीवित करने की आवश्यकता पर बल दिया। इस अवसर पर संयुक्त पशुपालन निदेशक डॉ छिरिंग डोलमा, उप निदेशक डॉ प्रीना बराइली, सहकारिता विभाग की उप रजिस्ट्रार रंजना अधिकारी, सहायक मत्स्य पालन निदेशक गौरी मुखिया, नाबार्ड एजीएम मेनलांग लोवांग एवं अन्य मौजूद थे।
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