कोलकाता (ईएमएस)। पश्चिम बंगाल विधानसभा में विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को पत्र लिखकर उनके उस आरोप की आलोचना की है, जिसमें उन्होंने कहा था कि बीएसएफ बांग्लादेश से घुसपैठ की अनुमति दे रही है। इस पर शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि इस तरह की टिप्पणी सुरक्षा बलों का अपमान है। उन्होंने ममता बनर्जी पर अपने वोट बैंक को खुश करने के लिए ‘घटिया’ राजनीति करने का भी आरोप लगाया।
यह दावा करते हुए कि भाजपा शासित असम में प्रशासन अवैध अप्रवास को रोकने के लिए सुरक्षा एजेंसियों के साथ मिलकर काम कर रहा है, शुभेंदु अधिकारी ने आरोप लगाया कि पश्चिम बंगाल सरकार घुसपैठियों को वोट बैंक बना रही है। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि पश्चिम बंगाल में घुसपैठ के लिए सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) को दोषी ठहराना ‘बंगाल में केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (सीएपीएफ) के 75,000 कर्मियों और 33,000 बीएसएफ कर्मियों का अपमान है’।
शुभेंदु अधिकारी ने सीएम ममता को लिखे पत्र में लिखा, राजनीति में आरोप-प्रत्यारोप तो होते ही रहते हैं। लेकिन सुरक्षा बलों को इसमें घसीटना, उनका अपमान करना और अपनी विफलताओं का ठीकरा उन पर फोड़ना घटिया राजनीति के अलावा और कुछ नहीं है। ममता बनर्जी ने गुरुवार को सीमा सुरक्षा बल पर बांग्लादेश से घुसपैठ की अनुमति देने का आरोप लगाया था और आरोप लगाया था कि वे केंद्र सरकार के राज्य को अस्थिर करने के ‘ब्लूप्रिंट’ के तहत ऐसा कर रहे हैं, हालांकि बीएसएफ ने इस आरोप का खंडन करते हुए कहा कि वह देश की सीमा की पूरी लगन से रक्षा करता है।
भाजपा नेता ने पश्चिम बंगाल सरकार पर ‘सीमा संबंधी विषयों पर बीएसएफ के साथ असहयोग’ करने का आरोप लगाया। विपक्ष के नेता ने आरोप लगाया कि पश्चिम बंगाल सरकार ‘पड़ोसी देशों से सताए गए अल्पसंख्यकों के बसने का विरोध कर रही है’ लेकिन ‘घुसपैठियों का स्वागत कर रही है’। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि राज्य सरकार के समर्थन की कमी भारत-बांग्लादेश सीमा पर घुसपैठ को रोकने के उद्देश्य से बाड़ लगाने के निर्माण में बाधा बन रही है। उन्होंने यह भी दावा किया कि 284 किलोमीटर की बाड़ बनाने के लिए भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया राज्य स्तर पर ‘लंबित’ है।
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