नई दिल्ली, 02 अप्रैल । तृणमूल कांग्रेस की नेता महुआ मोइत्रा की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रहीं। सीबीआई के बाद अब प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने उनके खिलाफ केस दर्ज कर लिया है। गौरतलब है कि महुआ मोइत्रा के खिलाफ पहले ही रिश्वत के बदले संसद में सवाल पूछने के मामले में सीबीआई की जांच जारी है।
तृणमूल कांग्रेस की सांसद महुआ मोइत्रा पर कारोबारी दर्शन हीरानंदानी के कहने पर संसद में सवाल पूछने का आरोप है। भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने उनके खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी। उन्होंने दावा किया था कि ये सबूत वकील जय अनंत देहादराई द्वारा प्रदान किए गए थे।
लोकसभा स्पीकर को लिखे अपने पत्र में दुबे ने कहा था कि उन्हें वकील और महुआ के पूर्व दोस्त जय अनंत का एक पत्र मिला है, जिसमें उन्होंने मोइत्रा और जाने-माने बिजनेस टाइकून दर्शन हीरानंदानी के बीच सवाल पूछने के लिए रिश्वत के आदान-प्रदान के सबूत साझा किए हैं। इसके आधार पर निष्कर्ष निकाला गया कि मोइत्रा ने संसद में उनके द्वारा पूछे गए कुल 61 में से लगभग 50 प्रश्न दर्शन हीरानंदानी और उनकी कंपनी के व्यावसायिक हितों को बचाने के लिए थे।
सूत्रों ने कहा कि इस मामले में कुछ अन्य विदेशी प्रेषण और धन के हस्तांतरण के अलावा एनआरई खाते से जुड़े लेनदेन एजेंसी की जांच के दायरे में हैं। जांचकर्ता उनका बयान दर्ज करना चाहते हैं। मामले की जांच सीबीआई भी कर रही है और लोकपाल भी उनके खिलाफ आरोपों की प्रारंभिक जांच कर रही है। सीबीआई मामले के आधार पर ईडी ने जांच शुरू की है।
विदेशी मुद्रा प्रबंधन अधिनियम (फेमा) मामले में तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) नेता महुआ मोइत्रा को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने 28 मार्च (गुरुवार) को पेश होने के लिए कहा था, लेकिन टीएमसी नेता ने कहा कि वह गुरुवार को कृष्णनगर निर्वाचन क्षेत्र में प्रचार अभियान में शामिल होने की बात कही थी। इसके चलते वे ईडी के सामने पेश नहीं हुई थीं। (एजेन्सी)
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