मुंबई, 06 फरवरी । राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के सुप्रीमो शरद पवार को चुनाव आयोग से बड़ा झटका लगा है। आयोग ने अजित पवार की अगुवाई वाले गुट को असली एनसीपी कराद दिया है। चुनाव आयोग ने सुनवाई के बाद अपना फैसला रिजर्व कर लिया था। आयोग ने अपने फैसले में अजित पवार को राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी और सिंबल दे दिया है। एनसीपी में टूट के बाद अजित पवार ने चुनाव आयोग में दावा ठोंका था। इसके बाद आयोग में सुनवाई हुई थी। आयोग के फैसले के बाद अजित पवार का खेमा ही असली एनसीपी होगा। आयोग का फैसला ऐसे वक्त पर आया है जब महाराष्ट्र विधानसभा स्पीकर राहुल नार्वेकर को 15 फरवरी तक एनसीपी विधायकों की अयोग्यता को लेकर अपना फैसला सुनाना है।
चुनाव आयोग के फैसले के बाद अब अजित पवार पार्टी के साथ उसके चुनाव-चिन्ह का इस्तेमाल कर सकेंगे। आयोग ने अपने फैसले में कहा कि अजित गुट को तमाम सबूतों के आधार पर असली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी माना गया है। पिछले साल 2 जुलाई को अजित पवार 40 विधायकों के साथ बीजेपी और शिवसेना (शिंदे) की अगुवाई वाली सरकार में शामिल हो गए थे। इसके बाद उन्होंने एनसीपी दावा ठोंका था। इसके बाद चुनाव आयोग सुनवाई हुई थी। आयोग ने पार्टी के संविधान, बहुमत के आधार पर फैसला सुनाया है।
कांग्रेस से अलग होकर 10 जून, 1999 को शरद पवार ने राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी का गठन किया था। 24 साल पुरानी पार्टी में कई नेता बीच में छोड़कर गए और आए, लेकिन शरद पवार को सबसे बड़ी बगावत का सामना पिछले साल दो जुलाई को करना पड़ा था जब भतीजे अजित पवार बीजेपी और शिवसेना (शिंदे) की सरकार में शामिल हो गए थे। तब एनसीपी के विधायकों में से 9 को मंत्री बनने का मौका मिला था। अजित पवार गुट को असली एनसीपी घोषित होने के बाद शरद पवार के साथ मौजूद नेताओं को बाद अजित गुट के व्हिप का आदेश मानना पड़ेगा। (एजेन्सी)
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