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गोजमुमो जाति बेचकर राजनीति नहीं करती : बिमल गुरुंग

दार्जिलिंग । गोरखा जनमुक्ति मोर्चा जाति बेचकर चावल खाने वाली पार्टी नहीं है। यह बात गोजमुमो अध्‍यक्ष बिमल गुरुंग ने कही। गोरखा जनमुक्ति मोर्चा की संगठनात्मक बैठक आज चुंगथुंग मेरिबुंग तमसांग समष्टि के सल्लाबारी भवन में आयोजित की गई। आयोजित बैठक में पार्टी के केंद्रीय अध्यक्ष बिमल गुरुंग विशेष रूप से मौजूद थे। बैठक स्थल पर पहुंचने से पहले मोर्चा अध्यक्ष बिमल गुरुंग ने लिंगिया चाय बागान का दौरा किया।

स्थानीय लोगों ने मोर्चा अध्यक्ष गुरुंग का जोरदार स्वागत किया। इसी तरह सल्लाबासी इलाके में भी मोर्चा अध्यक्ष बिमल गुरुंग का जोरदार स्वागत किया गया। संगठनात्मक बैठक को संबोधित करते हुए मोर्चा अध्यक्ष बिमल गुरुंग ने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि हमारी पार्टी जाति बेचकर चावल खाने वाली पार्टी नहीं है। इसके अलावा गुरुंग ने कहा कि 2017 के आंदोलन के दौरान गोरखा जाति के लिए वह तीन साल के लिए भूमिगत हो गए थे।

मोर्चा अध्यक्ष बिमल गुरुंग ने आरोप लगाया कि हमने दार्जिलिंग, कार्सियांग, मिरिक, कालिम्‍पोंग, तराई डुआर्स आदि में सार्वजनिक बैठकें करने की अनुमति मांगी थी, लेकिन पहाड़ में सत्तारूढ़ दल के नेता डर के कारण गोरखा जनमुक्ति मोर्चा को सार्वजनिक बैठक करने से रोक रहे हैं। उन्‍हें भय है कि हमारी बैठकों से उनकी पोल खुल जाएगी। श्री गुरुंग ने कहा कि गोरखा जनमुक्ति मोर्चा गोरखालैंड की पक्षधर पार्टी है, यह जाति की मुक्ति चाहने वाली पार्टी है, यह जाति बेचकर चावल खाने वाली पार्टी नहीं है।

इसके साथ ही उन्‍होंने कहा कि चुंगथुंग मेरिबुंग की सड़क की हालत बहुत अकल्पनीय है, इसलिए सड़क के रखरखाव के लिए ड्राइवरों सहित स्थानीय लोगों को भूख हड़ताल पर जाने के लिए मजबूर होना पड़ा। पीडब्ल्यूडी ने सड़क के रखरखाव के लिए 18 करोड़ रुपये पारित किए हैं। 18 करोड़ रुपये कोई कम राशि नहीं है लेकिन सड़क का रखरखाव नहीं हो रहा है।

उन्होंने यह भी कहा कि चुंगथुंग चाय बागान पिछले कई दिनों से बंद है। पहाड़ में सत्तारूढ़ दल के नेताओं बंद बागान को खुलवाने के लिए मालिक के सामने जी हुजूरी करने के कारण मालिकों ने श्रमिकों पर और अधिक अन्याय और अत्याचार करना शुरू कर दिया है। उन्होंने कहा कि हमने भी जीटीए चलाया है। उस समय भी यह चाय बागान बंद हुआ था। हमने मालिक को स्‍पष्‍ट कह दिया था कि चाय बागान खोलो नहीं तो हम इसका संचालन करेंगे। इसके बाद उन्‍होंने सिर झुकाकार बागान खोला था।

उन्होंने कहा, चुंगथुंग चाय बागान की नीलामी होने जा रही है, हम सबको मिलकर एक अच्छी कंपनी लानी चाहिए, झालमुड़ी कंपनी नहीं लानी चाहिए, फिर से यहां के मजदूरों को परेशानी होगी। उन्‍होंने कहा कि जाति बेचकर कुछ नेता करोड़पति हो गए हैं।

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